शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने लंगट सिंह कॉलेज का किया दौरा, शैक्षणिक गुणवत्ता और आधारभूत सुविधाओं पर की चर्चा

  • Post By Admin on Nov 25 2024
शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने लंगट सिंह कॉलेज का किया दौरा, शैक्षणिक गुणवत्ता और आधारभूत सुविधाओं पर की चर्चा

मुज़फ्फरपुर : बिहार सरकार के शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने रविवार को लंगट सिंह कॉलेज का दौरा किया और कॉलेज के शैक्षणिक और आधारभूत संरचनाओं की स्थिति का जायजा लिया। इस दौरान उन्होंने कॉलेज के प्राचार्य प्रो. ओमप्रकाश राय के साथ विस्तृत विमर्श किया। जिसमें शैक्षणिक गुणवत्ता सुनिश्चित करने के लिए उठाए जा रहे कदमों पर चर्चा की गई।

मंत्री सुनील कुमार ने सबसे पहले कॉलेज के गांधी पार्क में स्थित महात्मा गांधी, डॉ. राजेंद्र प्रसाद और बाबू लंगट सिंह की प्रतिमाओं पर माल्यार्पण किया और उन्हें नमन किया। इसके बाद उन्होंने कॉलेज में चल रही शैक्षणिक गतिविधियों का निरीक्षण किया और छात्र-छात्राओं की शैक्षणिक और आधारभूत सुविधाओं के बारे में जानकारी ली।

इस दौरान प्राचार्य प्रो. ओमप्रकाश राय ने मंत्री को कॉलेज द्वारा सुनिश्चित की जा रही गुणवत्तापूर्ण शिक्षा और अतिरिक्त पाठ्यक्रम गतिविधियों के बारे में बताया। उन्होंने यह भी बताया कि कॉलेज के शैक्षणिक स्तर को उच्च बनाए रखने और इसकी पुरानी गरिमा को पुनः स्थापित करने के लिए कई प्रयास किए जा रहे हैं। सुनील कुमार ने इन प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि राज्य सरकार कॉलेज के शैक्षणिक उत्कृष्टता में हर संभव मदद प्रदान करेगी। उन्होंने कॉलेज के विकास के लिए अपनी पूरी सहयोग का आश्वासन दिया।

प्राचार्य प्रो. राय ने मंत्री से कॉलेज के लिए एक विशेष मांग भी की। उन्होंने कॉलेज में वोकेशनल शिक्षा के लिए एक नया भवन और स्टाफ क्वार्टर के निर्माण के लिए स्वीकृति प्रदान करने का अनुरोध किया। इस पर मंत्री ने सकारात्मक प्रतिक्रिया दी और जल्द ही इस परियोजना पर कार्य शुरू होने की उम्मीद जताई।

इस मौके पर बिहार सरकार के मंत्री जयंत राज, पूर्व मंत्री दुलारचंद गोस्वामी, कॉलेज के वरिष्ठ शिक्षक प्रो. गोपालजी, प्रो. राजीव झा, प्रो. शैलेन्द्र सिन्हा, प्रो. विजय कुमार, डॉ. राजीव कुमार, डॉ. शशिकांत पाण्डेय, डॉ. तथागत बनर्जी, डॉ. नवीन कुमार, डॉ. प्रदीप कुमार और ऋषि कुमार सहित कई अन्य प्रमुख व्यक्ति भी उपस्थित थे।

यह दौरा लंगट सिंह कॉलेज के शैक्षणिक सुधार और विकास के लिए महत्वपूर्ण कदम साबित हुआ और उम्मीद जताई जा रही है कि इसके परिणामस्वरूप कॉलेज की शैक्षणिक गुणवत्ता और सुविधाओं में सुधार होगा।