महिला सशक्तिकरण की मिसाल बना शक्ति बाजार, मधुबनी पेंटिंग, मसाला प्रसंस्करण व लाख उद्योग की दिखी झलक

  • Post By Admin on Jun 14 2025
महिला सशक्तिकरण की मिसाल बना शक्ति बाजार, मधुबनी पेंटिंग, मसाला प्रसंस्करण व लाख उद्योग की दिखी झलक

मुजफ्फरपुर : चैंबर ऑफ कॉमर्स, मुजफ्फरपुर के प्रांगण में 13-14 जून को दो दिवसीय शक्ति बाजार (मेला) का आयोजन हुआ, जो महिला सशक्तिकरण और ग्रामीण उद्यमिता को समर्पित रहा। इस विशेष मेले का आयोजन सामाजिक संगठन "प्रयत्न" के सौजन्य से और सिडबी के सहयोग से किया गया, जिसमें स्वयं सहायता समूहों (SHGs) की महिलाओं ने हस्तनिर्मित उत्पादों की शानदार प्रदर्शनी और बिक्री की।

महिलाओं की रचनात्मकता को मिली मंच
‘लक्ष्मी स्वयं सहायता समूह’ और ‘सरस्वती स्वयं सहायता समूह’ की महिलाओं ने मधुबनी पेंटिंग, लाख के आभूषण, घरेलू मसाले जैसे उत्पादों से लोगों को खूब आकर्षित किया। दर्शकों और खरीदारों ने महिला उद्यमियों की मेहनत और हुनर की दिल खोलकर सराहना की।

पंचायती राज मंत्री ने की सराहना
कार्यक्रम का उद्घाटन बिहार सरकार के पंचायती राज मंत्री माननीय केदार प्रसाद गुप्ता ने किया। उन्होंने स्टॉलों का अवलोकन किया और महिलाओं के प्रयासों को सराहते हुए कहा, "यह प्रयास महिला आत्मनिर्भरता की दिशा में एक सशक्त कदम है। सरकार सदैव ऐसे प्रयासों के साथ खड़ी है।"

संस्थापक प्रभात कुमार ने किया सम्मानित
प्रयत्न के संस्थापक प्रभात कुमार ने माननीय मंत्री को मधुबनी कलाकृति वाला अंगवस्त्र भेंटकर सम्मानित किया। उन्होंने कहा, "महिलाओं की भागीदारी के बिना सामाजिक परिवर्तन अधूरा है, और प्रयत्न का प्रयास उन्हें एक सशक्त मंच देने का है।"

कार्यक्रम संचालन में महिलाओं की अग्रणी भूमिका
इस दो दिवसीय मेले में प्रयत्न के द्वारा आयोजित स्टॉल का सफल संचालन प्रयत्न की कार्यक्रम प्रबंधक शालिनी रंजन के नेतृत्व में हुआ। श्रीमती अंजना लाभ, अमित चंद्र चौधरी, राहुल कौटिल्य और रवि कुमार ने भी आयोजन में सक्रिय भूमिका निभाई। महिला उद्यमियों धर्मशिला देवी, मंजू देवी, रंजू कुमारी आदि ने अपने-अपने स्टॉल का शानदार संचालन कर मिसाल कायम की।

जनसमूह ने मेले का उठाया आनंद
मुजफ्फरपुर वासियों ने इस सामाजिक और सांस्कृतिक आयोजन का भरपूर आनंद उठाया और उत्पादों की जमकर खरीदारी की। मेले ने ग्रामीण महिलाओं की आर्थिक आत्मनिर्भरता की एक प्रेरणादायक तस्वीर पेश की।

यह आयोजन महिला उद्यमिता को बढ़ावा देने और स्थानीय कला-उद्योग को प्रोत्साहित करने की दिशा में एक अहम कदम के रूप में देखा जा रहा है।