अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेटर के पिता को गबन मामले में 7 साल की सजा

  • Post By Admin on Dec 27 2024
अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेटर के पिता को गबन मामले में 7 साल की सजा

बैतूल : जिले में बैंक गबन के एक बड़े मामले में अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेटर नमन ओझा के पिता विनय ओझा को 7 साल की सजा और 14 लाख रुपये का जुर्माना लगाया गया है। यह मामला 11 साल पुराना है। जिसमें विनय ओझा पर किसान क्रेडिट कार्ड (KCC) के नाम पर फर्जी खातों से लोन निकालकर निजी खातों में पैसे ट्रांसफर करने का आरोप था।

फर्जी किसान क्रेडिट कार्ड से लोन घोटाला

मुलताई के अपर सत्र न्यायालय ने इस मामले में चार आरोपियों को दोषी ठहराया। इनमें से तीन अन्य आरोपियों को भी 7-7 साल की सजा सुनाई गई। आरोपियों ने मिलकर बैतूल के बैंक ऑफ महाराष्ट्र की जौलखेड़ा शाखा में फर्जी किसान क्रेडिट कार्ड (KCC) खाते खोले थे और इन खातों पर लोन ट्रांसफर कर लगभग सवा करोड़ रुपये की रकम निकाल ली थी।

इस घोटाले के मुख्य आरोपी विनय ओझा उस समय बैंक की जौलखेड़ा शाखा के मैनेजर थे। आरोप है कि उन्होंने बैंक की अन्य कर्मचारियों के साथ मिलकर इस घोटाले को अंजाम दिया। कोर्ट के अनुसार आरोपियों ने जानबूझकर फर्जी खातों का निर्माण किया और कागजात में जालसाजी करके किसानों के नाम पर लोन लेकर बड़ी रकम निकाल ली।

घोटाला 2013 में हुआ, FIR 2014 में दर्ज

यह घटना 2013 की है। जब विनय ओझा बैंक ऑफ महाराष्ट्र की जौलखेड़ा शाखा में मैनेजर थे। 2014 में इस मामले में धोखाधड़ी और जालसाजी के तहत एफआईआर दर्ज की गई थी। आरोपियों में से चारों फरार थे और उन्हें पकड़ने में पुलिस को करीब आठ साल का समय लगा। आखिरकार, 2022 में विनय ओझा को गिरफ्तार किया गया।

कोर्ट ने दिए सख्त निर्देश

मुलताई के अपर सत्र न्यायालय ने मंगलवार को चारों आरोपियों को सजा सुनाई। अदालत ने विनय ओझा, बैंक की मुलताई शाखा के मैनेजर अभिषेक रत्नम, और अन्य दो आरोपियों धनराज और लखनलाल पवार को 7-7 साल की सजा और 14 लाख रुपये का जुर्माना लगाने का आदेश दिया। इन पर आईपीसी की विभिन्न धाराओं के तहत केस दर्ज किया गया था। जिसमें धारा 409 (विश्वासघात), 420 (धोखाधड़ी), 467 (जालसाजी), 468 (दस्तावेजों की जालसाजी), 471 (फर्जी दस्तावेजों का उपयोग), 120 बी (साजिश), 34 (सामूहिक अपराध) और आईटी एक्ट की धारा 65,66 के तहत आरोप लगाए गए थे।

नमन ओझा के लिए यह एक मुश्किल समय

भारतीय क्रिकेट टीम के एक प्रमुख खिलाड़ी नमन ओझा के पिता इस घोटाले में शामिल होने से न केवल उनके परिवार पर एक बड़ा दबाव आया है बल्कि यह मामला उनके और क्रिकेट प्रेमियों के लिए भी बेहद चौंकाने वाला रहा है। हालांकि, नमन ओझा ने इस मामले पर सार्वजनिक रूप से कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है लेकिन यह घटना उनके लिए एक कठिन समय रही होगी।