नवंबर क्यों बन जाता है स्किन-स्ट्रेस सीज़न : जानें संवेदनशील त्वचा के 5 वैज्ञानिक कारण

  • Post By Admin on Nov 18 2025
नवंबर क्यों बन जाता है स्किन-स्ट्रेस सीज़न : जानें संवेदनशील त्वचा के 5 वैज्ञानिक कारण

नई दिल्ली: तापमान बदलते ही देशभर में लोग एक जैसी समस्या महसूस करने लगते हैं—त्वचा अचानक ज्यादा संवेदनशील, रूखी और खिंची हुई लगने लगती है। नवंबर की शुरुआत, जिसे सर्दियों का स्वागत माना जाता है, स्किन एक्सपर्ट्स के लिए “स्किन बैरियर फॉल सीज़न” भी बन चुका है।
दिखने में सामान्य बदलावों के पीछे वैज्ञानिक कारण गहरे हैं, और शोध बताते हैं कि यह ट्रांजिशन महीना त्वचा के लिए सबसे चुनौतीपूर्ण होता है।

हवा में नमी का गिरना: नवंबर का पहला झटका

अमेरिकन एकेडमी ऑफ डर्मेटोलॉजी के अनुसार सर्दी शुरू होते ही हवा की आर्द्रता 30–50% तक घट जाती है। त्वचा की ऊपरी परत स्ट्रेटम कॉर्नियम वातावरण से नमी खींचकर खुद को संतुलित रखती है, लेकिन हवा की सूखापन नमी के इस स्रोत को छीन लेता है। नतीजा—माइक्रो-क्रैक्स, खिंचाव और शुरुआती रूखापन।

टीईडब्ल्यूएल यानी पानी का तेज़ी से उड़ना

मौसम बदलते ही त्वचा का बैरियर प्रोटीन फिलैग्रिन कमजोर पड़ने लगता है। जर्नल ऑफ इंवेस्टिगेटिव डर्मेटोलॉजी की रिपोर्ट बताती है कि ट्रांस-एपिडर्मल वॉटर लॉस (TEWL) अचानक बढ़ जाता है। नवंबर में दिन-रात के तापमान का फर्क इस प्रक्रिया को और तेज़ करता है—जिससे त्वचा अपने भीतर की नमी को संभाल नहीं पाती।

ठंडी हवा की गति—त्वचा के तेल की सबसे बड़ी दुश्मन

तेज और सूखी हवा त्वचा की प्राकृतिक तेल-परत को धो देती है।
ब्रिटिश जर्नल ऑफ डर्मेटोलॉजी की 2019 की स्टडी के मुताबिक, सिर्फ 15 मिनट की ठंडी हवा त्वचा की लिपिड लेयर को 20–25% तक कमजोर करने के लिए पर्याप्त है।
इसी वजह से नवंबर आते ही होंठ फटना, गालों में जलन और हाथों का रूखापन शुरू होता है।

सीबम का कम होना—स्किन का नैचुरल मॉइस्चराइज़र घटता है

ठंड बढ़ते ही सीबम बनाने वाली ऑयल ग्लैंड्स धीमी हो जाती हैं।
डर्मेटोलॉजी रिसर्च एंड प्रैक्टिस के अनुसार नवंबर से जनवरी के बीच सीबम लेवल 20–30% तक गिर जाता है। सीबम कम होने से स्किन बैरियर पतला हो जाता है, और नमी तेजी से उड़ने लगती है।

धूप और माइक्रोबायोम—दोनों में बदलाव से गिरता संतुलन

नवंबर में धूप हल्की होती है, जिससे विटामिन D और सेल रिन्यूअल की गति कम हो जाती है। साथ ही ठंडी हवा त्वचा के माइक्रोबायोम—यानी अच्छे बैक्टीरिया की रक्षात्मक परत—को भी कमजोर कर देती है। 2022 की एक स्टडी के मुताबिक सर्दियों की शुरुआत में माइक्रोबायोम की विविधता घटती है, जिससे त्वचा की नमी और संवेदनशीलता दोनों प्रभावित होती हैं।