यूपी बोर्ड परीक्षा 2025 में होगी ऑनलाइन मॉनिटरिंग, छात्रों को उसी दिन मिलेगा अंक
- Post By Admin on Dec 18 2024
 
                    
                    लखनऊ : उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा परिषद (UPMSP) ने यूपी बोर्ड परीक्षा 2025 की प्रैक्टिकल परीक्षाओं के लिए एक महत्वपूर्ण बदलाव किया है। अब, हाईस्कूल और इंटरमीडिएट की प्रैक्टिकल परीक्षाओं की ऑनलाइन मॉनिटरिंग की जाएगी। यह कदम यूपी बोर्ड की परीक्षा प्रणाली में पारदर्शिता लाने और नकल की समस्या को सुलझाने के लिए उठाया गया है।
ऑनलाइन मॉनिटरिंग और तुरंत अंक अपलोडिंग
यूपी बोर्ड ने इस बार प्रैक्टिकल परीक्षाओं को लेकर सख्त नियम बनाए हैं। जिला विद्यालय निरीक्षक डॉ. धर्मवीर सिंह ने जानकारी दी कि 2025 की प्रैक्टिकल परीक्षाएं जनवरी में आयोजित की जाएंगी और अब परीक्षकों को परीक्षा के तुरंत बाद ही छात्रों के अंक बोर्ड के पोर्टल पर अपलोड करने होंगे। इसका मतलब यह है कि जिस दिन कक्षा 10वीं और 12वीं के छात्रों की प्रैक्टिकल परीक्षा होगी उसी दिन उनके अंक बोर्ड द्वारा रिकॉर्ड किए जाएंगे।
इसके साथ ही यूपी बोर्ड ने एक विशेष सॉफ्टवेयर तैयार किया है जो परीक्षा केंद्र के 200 मीटर के भीतर ही काम करेगा। जिससे मनमाने अंकों पर रोक लगेगी और परीक्षक घर बैठे अंक नहीं दे सकेंगे।
मौखिक परीक्षा की वीडियो रिकॉर्डिंग
इस साल प्रैक्टिकल परीक्षा के दौरान मौखिक परीक्षा की वीडियो रिकॉर्डिंग भी की जाएगी। यह रिकॉर्डिंग और इसकी जिम्मेदारी स्कूल के प्रिंसिपल पर होगी जो इसे बोर्ड को भेजेंगे। बोर्ड ने इस नई तकनीक के तहत काम करने के लिए शिक्षकों को ट्रेनिंग देने का निर्णय लिया है ताकि प्रैक्टिकल परीक्षा सुचारू रूप से संपन्न हो सके और छात्रों को कोई परेशानी न हो।
प्रैक्टिकल परीक्षा के लिए नई तैयारी
साथ ही इस साल के लिए प्रैक्टिकल परीक्षा संपन्न कराने वाले शिक्षकों का पूरा विवरण भी बोर्ड के पोर्टल पर अपलोड किया जाएगा। इस कदम से परीक्षा प्रक्रिया में पारदर्शिता और सुरक्षा सुनिश्चित होगी ताकि नकल जैसी किसी भी अनियमितता को रोका जा सके।
24 फरवरी से शुरू होंगी थ्योरी परीक्षाएं
यूपी बोर्ड की थ्योरी परीक्षाएं 24 फरवरी 2025 से शुरू होंगी। जो दो पालियों में आयोजित की जाएंगी। पहली पाली की परीक्षा सुबह 8:30 बजे से 11:45 बजे तक होगी। जबकि दूसरी पाली दोपहर 2 बजे से शाम 5:15 बजे तक होगी।
नकल रोकने के लिए कड़े कदम
यूपी बोर्ड की परीक्षाएं हमेशा से नकल के लिए बदनाम रही हैं और इसी कारण राज्य सरकार और बोर्ड ने हर साल परीक्षा को लेकर कड़े इंतजाम किए हैं। इस बार प्रैक्टिकल परीक्षाओं की मॉनिटरिंग और नकल रोकने के लिए उठाए गए कदम एक महत्वपूर्ण बदलाव हैं। जिनसे परीक्षा प्रणाली में सुधार की उम्मीद जताई जा रही है।
इस बदलाव से छात्रों को निश्चित रूप से एक पारदर्शी और निष्पक्ष परीक्षा का अनुभव मिलेगा और नकल की समस्या को प्रभावी तरीके से नियंत्रित किया जा सकेगा।