एफडी पर कम ब्याज से ग्राहकों को झटका, लोन हुआ सस्ता, एसबीआई समेत कई बैंकों ने बदले रेट
- Post By Admin on Apr 15 2025

नई दिल्ली : देश के सबसे बड़े सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक, स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBI) ने एक तरफ जहां लोन लेने वालों को राहत दी है, वहीं एफडी कराने वालों को बड़ा झटका दिया है। बैंक ने रेपो रेट से जुड़ी ब्याज दरों में कटौती करते हुए लोन सस्ते कर दिए हैं, लेकिन साथ ही फिक्स्ड डिपॉजिट पर मिलने वाले ब्याज दरों में भी कमी कर दी है, जिससे जमाकर्ताओं की कमाई पर असर पड़ेगा।
एसबीआई ने अपनी रेपो लिंक्ड लेंडिंग रेट (RLLR) और ईबीएलआर (EBLR) में 0.25 प्रतिशत की कटौती की है। अब बैंक की नई रेपो आधारित उधारी दर 8.25 प्रतिशत हो गई है, जबकि ईबीएलआर घटकर 8.65 प्रतिशत पर आ गई है। ये नई दरें 15 अप्रैल से लागू होंगी। इस कदम से लोन ग्राहकों को किस्तों में थोड़ी राहत जरूर मिलेगी, लेकिन एफडी धारकों के लिए बुरी खबर आई है।
बैंक ने सावधि जमा पर मिलने वाले ब्याज दरों में 0.10 प्रतिशत से लेकर 0.25 प्रतिशत तक की कटौती की है। तीन करोड़ रुपये तक की जमा राशि पर एक से दो साल की एफडी के लिए ब्याज दर घटाकर 6.70 प्रतिशत कर दी गई है। वहीं, दो से तीन साल की अवधि वाली एफडी पर अब 7 प्रतिशत की जगह सिर्फ 6.90 प्रतिशत ब्याज मिलेगा।
एचडीएफसी बैंक ने भी अपने ग्राहकों को झटका दिया है। बैंक ने सेविंग्स अकाउंट पर ब्याज दर में 0.25 प्रतिशत की कटौती कर दी है, जिसके बाद यह घटकर 2.75 प्रतिशत हो गई है। यह दर अब देश के प्राइवेट बैंकों में सबसे कम मानी जा रही है। इसके अलावा, 50 लाख रुपये से अधिक की जमा राशि पर भी अब 3.5 प्रतिशत की बजाय सिर्फ 3.25 प्रतिशत ब्याज मिलेगा। एचडीएफसी की वेबसाइट के अनुसार यह नई दरें 12 अप्रैल से लागू हो चुकी हैं।
इसी तरह, बैंक ऑफ इंडिया ने भी होम लोन की ब्याज दरों में 0.25 प्रतिशत की कटौती की है। साथ ही बैंक ने 400 दिनों की विशेष सावधि जमा योजना को भी वापस ले लिया है, जिसमें अब तक 7.3 प्रतिशत का ब्याज मिलता था।
आरबीआई द्वारा लगातार दूसरी बार रेपो रेट में कटौती किए जाने के बाद बैंकों ने यह बदलाव किए हैं। हालांकि इससे कर्ज लेना तो सस्ता हो गया है, लेकिन एफडी और सेविंग्स पर ब्याज दरों में गिरावट से आम लोगों की बचत पर असर पड़ना तय है।