बिहार : जानलेवा बना ठंड, तापमान पहुंचा 7 डिग्री, सतर्क रहने की अपील

  • Post By Admin on Jan 09 2023
बिहार : जानलेवा बना ठंड, तापमान पहुंचा 7 डिग्री, सतर्क रहने की अपील

बेगूसराय: नए पश्चिमी विक्षोभ की आहट से मौसम में एक बार फिर जबरदस्त परिवर्तन हो गया है। देर रात से छाया घना कोहरा सोमवार को इस कदर छा गया कि शहर से लेकर गांव तक कुहासे की चादर में लिपट गया तथा विजिबिलिटी दो सौ मीटर पर आ गई। तापमान में भी काफी गिरावट दर्ज किया गया है तथा बेगूसराय का तापमान सात डिग्री सेल्सियस पर आ गया। मौसम विभाग से मिली जानकारी के अनुसार 11 जनवरी से पहले शीतलहर से राहत मिलने की कोई संभावना नहीं है। हाड़कंपाने वाली ठंड के कारण लोगों का घर से निकलना मुश्किल हो गया है। मजदूर काम के लिए घर से निकल कर आ रहे हैं, लेकिन उन्हें काम नहीं मिल पा रहा है, सड़कों पर सन्नाटा पसरा रहा। बेगूसराय में ठंड के साथ-साथ प्रदूषण भी चरम पर है, सोमवार की सुबह डीआरसीसी के समीप एक्यूआई 441 रहा, जो कि अत्यंत ही खतरनाक स्तर पर है। ठंड और प्रदूषण के कारण लोगों में सांस जनित बीमारी एवं हृदय रोगियों की तकलीफ बढ़ गई है, बड़ी संख्या में लोग बीमार पड़ने लगे हैं। प्रदूषण से बचाव के लिए जिला प्रशासन द्वारा कई स्तर पर कार्य किए जाने के बावजूद भी कोई राहत नहीं मिल पा रही है।

ठंड को देखते हुए प्रशासन एक्टिव मोड में है, जिला प्रशासन द्वारा दो सौ से अधिक जगहों पर अलाव की व्यवस्था की गई है। नगर निगम द्वारा अलाव की व्यवस्था करने के साथ मेयर पिंकी देवी खुद रात में सड़कों पर निकल कर उसकी निगरानी कर रही है। नगर निगम के सारे हुए मेयर प्रत्याशियों ने भी लोगों को राहत पहुंचाने के लिए जगह-जगह अलाव की व्यवस्था कराई है। जिला प्रशासन द्वारा सड़क पर रहने वालों को रैनबसेरा में भेजा जा रहा है, लेकिन अभी भी बड़ी संख्या में लोग सड़क पर रह रहे हैं। प्रशासनिक स्तर पर कंबल भी वितरण किया गया है, लेकिन प्रशासन का कंबल और अलाव लोगों को ठंड से राहत नहीं दिला पा रही है। सबसे खराब स्थिति तो जिला मुख्यालय के वीआईपी माने जाने वाले समाहरणालय की है। जहां कि जिलाधिकारी कार्यालय की गेट पर ही एक भिखारी परिवार पिछले चार-पांच महीनों से अड्डा जमाए हुए। इस परिवार के कारण यहां प्रदूषण और स्वच्छता की स्थिति बदतर हो गई है। लेकिन जिला प्रशासन इस परिवार के आतंक से लोगों को राहत दिलाने में नाकाम साबित हो गया है। फिलहाल मौसम विभाग द्वारा 11 जनवरी के बाद ही ठंड से कुछ राहत मिलने की संभावना जताई गई है। पश्चिमी विक्षोभ के पहुंचने से जब हल्की बारिश होगी तो मौसम में परिवर्तन हो सकता है। हालांकि घना कोहरा के बाद बारिश से फसलों को भी नुकसान होगा, इसके लिए सतर्क रहने की आवश्यकता है।

डीएम रोशन कुशवाहा ने अपील किया है कि शीतलहर के दौरान अनावश्यक घर से बाहर नहीं जाएं। उच्च रक्तचाप, हृदय रोग एवं डायबिटीज के मरीज चिकित्सक की सलाह जरूर लेते रहें तथा धूप होने पर ही घर से बाहर निकलें, आपातकालीन मेडिकल कीट तैयार रखें। यदि घर से बाहर जाना जरूरी हो तो समुचित गर्म कपड़े पहन कर ही निकलें और सिर, चेहरा, हाथ एवं पैर को गर्म कपड़ा से ढंक लें। कोयले की अंगीठी, मिट्टी तेल का चूल्हा, हीटर आदि का प्रयोग करते समय सावधान रहें। समाचार माध्यम से मौसम की जानकारी लेते रहें। पौष्टिक आहार एवं गर्म पेय पदार्थों का सेवन करें। हाथों और पैरों की उंगलियों, कान, नाक आदि पर सफेद या पीला दाग उभर आना ठंड के प्रकोप का लक्षण है। ठंड के मौसम में वातावरण धुंध एवं वायु प्रदूषण का स्तर बढ़ जाता है जो कि सांस एवं अन्य बीमार व्यक्तियों के लिए खतरा बना रहता है। जबतक हवा की गुणवत्ता में सुधार नहीं हो जाय, घर से बाहर नहीं निकलें। सतर्कता ही बचाव का सबसे बड़ा साधन है, इसलिए सतर्क रहें सुरक्षित रहें।