एमडीडीएम में राष्ट्र के निर्माण में महिलाओं की भूमिका पर संवाद सत्र आयोजित

  • Post By Admin on Jan 13 2025
एमडीडीएम में राष्ट्र के निर्माण में महिलाओं की भूमिका पर संवाद सत्र आयोजित

मुजफ्फरपुर : जिला के महंत दर्शन दास महिला महाविद्यालय में सोमवार को “राष्ट्र के निर्माण में महिलाओं की भूमिका” विषय पर एक संवादात्मक सत्र का आयोजन किया गया। इस सत्र में बतौर मुख्य वक्ता विश्व मांगल्य छात्रसभा की अखिल भारतीय संगठक श्रुति देशपांडे ने उपस्थित छात्राओं और शिक्षकों को संबोधित करते हुए विस्तृत व्याख्यान दिया।

श्रुति देशपांडे ने अपने संबोधन में कहा, “नारी परिवार, समाज और राष्ट्र की आधारशिला है। यदि नारी जागरूक होती है और अपने कर्तव्यों का सही तरीके से निर्वहन करती है, तो राष्ट्र का विकास सुनिश्चित है। महिला सशक्तिकरण के बिना समाज और राष्ट्र का समग्र विकास असंभव है। हर नारी को राष्ट्र की प्रगति में अपनी भूमिका निभानी होगी और उच्च पदों पर आसीन होकर समाज को दिशा देनी होगी।”

कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए महाविद्यालय की प्राचार्य डॉ. कनुप्रिया ने कहा, “देश हमें बहुत कुछ देता है, हमें भी उसे कुछ देना सीखना चाहिए। यदि हम राष्ट्र की शक्ति बनना चाहते हैं, तो हमें अपने कर्तव्यों का पालन करना होगा। छात्राएं ही देश का भविष्य हैं और वे समाज को एक नया रूप दे सकती हैं।”

कार्यक्रम में रामवृक्ष बेनीपुरी महाविद्यालय की दर्शनशास्त्र की प्राध्यापिका डॉ. रेणुबाला ने श्रुति देशपांडे का स्वागत करते हुए उनके जीवन और कार्यों का परिचय दिया। उन्होंने कहा, “नारी की शक्ति और जागरूकता से ही राष्ट्र का जागरण होगा। जब नारी जागेगी, तो राष्ट्र भी जागेगा और तब समाज में सकारात्मक परिवर्तन आएगा।”

मीडिया प्रभारी एवं हिंदी विभागाध्यक्ष डॉ. राकेश रंजन ने नारी सशक्तिकरण पर बल देते हुए कहा, “नारी सशक्त होगी तो राष्ट्र सशक्त होगा। नारी अपनी विविध रूपों में राष्ट्र के विकास में महत्वपूर्ण योगदान देती है, चाहे वह घर की चारदीवारी हो या समाज के बड़े मंच पर हो।”

कार्यक्रम की शुरुआत दीप जलाकर की गई। जिसमें महाविद्यालय की प्राचार्य डॉ. कनुप्रिया ने मुख्य अतिथि श्रुति देशपांडे और सह-अतिथि डॉ. रेणुबाला को शॉल एवं मोमेंटो प्रदान कर उनका सम्मान किया। मंच संचालन और धन्यवाद ज्ञापन बर्सर डॉ. राकेश रंजन ने किया।

कार्यक्रम में महाविद्यालय की छात्राएं और शिक्षकगण भी उपस्थित थे। जिनमें डॉ. किरण झा, डॉ. कुमारी सरोज, डॉ. शकीला अजीम, डॉ. अनुराधा सिंह, डॉ. निशिकांति, डॉ. मीनाक्षी, डॉ. एम सदफ, डॉ. सगुफ्ता नाज़, डॉ. निशि रानी, डॉ. मंजुला वर्मा, डॉ. राम दुलार सहनी, डॉ. हरिशंकर कुमार, डॉ. नवनीता कुमारी, डॉ. अर्चना गुप्ता, डॉ. पल्लवी, डॉ. रचना कुमारी, डॉ. रवि भूषण सिंह, डॉ. विपिन कुमार आदि शिक्षकों और शिक्षकेतर कर्मचारियों ने भी कार्यक्रम में भाग लिया।