भारत को मिला पहला ऑटोमोटिव डिज़ाइन स्कूल, नितिन गडकरी ने रखी आधारशिला

  • Post By Admin on Jun 19 2025
भारत को मिला पहला ऑटोमोटिव डिज़ाइन स्कूल, नितिन गडकरी ने रखी आधारशिला

नई दिल्ली : भारत ने ऑटोमोबाइल क्षेत्र में डिज़ाइन शिक्षा की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम बढ़ाया है। देश के पहले ऑटोमोटिव डिज़ाइन स्कूल – इंडियन स्कूल फॉर डिज़ाइन ऑफ ऑटोमोबाइल्स (आईएनडीईए) की स्थापना की आधारशिला मंगलवार को केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से रखी।

यह संस्थान एक्सएलआरआई दिल्ली-एनसीआर परिसर में स्थापित किया जा रहा है, जिसका संचालन वर्ष 2026 से शुरू होगा। इसका विकास एक्सएलआरआई के सेंटर फॉर ऑटोमोबाइल डिज़ाइन एंड मैनेजमेंट (एक्सएडीएम) द्वारा किया गया है। संस्थापक और एक्सएडीएम के अध्यक्ष अविक चट्टोपाध्याय ने बताया कि यह स्कूल एक विशिष्ट भारतीय डिज़ाइन फिलॉसफी विकसित करने की दिशा में काम करेगा।

चट्टोपाध्याय ने कहा, "हम सिर्फ एक क्लासरूम नहीं बना रहे हैं, बल्कि एक कामकाजी स्टूडियो तैयार कर रहे हैं, जहां छात्रों को डिजाइन से लेकर प्रोटोटाइप तक की पूरी प्रक्रिया सिखाई जाएगी।"

उन्होंने बताया कि इस स्कूल में कोई पारंपरिक कक्षा नहीं होगी, बल्कि एक बड़ा ओपन हॉल होगा जिसमें 25 छात्रों की सीमित संख्या के साथ शिक्षण होगा। इसमें CAD-CAM लैब, स्केल और 1:1 क्ले मॉडलिंग जोन, प्रोटोटाइप वर्कशॉप और एडिटिव मैन्युफैक्चरिंग लैब जैसी अत्याधुनिक सुविधाएं मौजूद होंगी।

इस दो वर्षीय पाठ्यक्रम में डिज़ाइन और प्रबंधन का एकीकृत अध्ययन कराया जाएगा, जो भारत, जापान और जर्मनी से आए विशेषज्ञ शिक्षकों द्वारा संचालित किया जाएगा। अंतिम सेमेस्टर में 25 छात्रों की टीम मिलकर एक वर्किंग प्रोटोटाइप तैयार करेगी जिसे वैश्विक मंच पर प्रस्तुत किया जाएगा।

कार्यक्रम के दौरान चट्टोपाध्याय ने कहा, “भारत को अब ‘मेक इन इंडिया’ से आगे बढ़ते हुए ‘डिज़ाइन इन इंडिया’ की ओर जाना होगा। जब तक हम डिज़ाइन को निवेश नहीं मानेंगे, तब तक हम वैश्विक प्रतिस्पर्धा में टिक नहीं पाएंगे।”

यह संस्थान देश में ऑटोमोबाइल डिज़ाइन के क्षेत्र में प्रतिभा को निखारने और वैश्विक मानकों पर प्रशिक्षित करने के उद्देश्य से स्थापित किया गया है। इसकी स्थापना से न केवल युवाओं को नई दिशा मिलेगी, बल्कि भारत के ऑटोमोटिव उद्योग को भी वैश्विक मंच पर नई पहचान मिलेगी।