भारत की पहली महिला अंतरिक्ष यात्री कल्पना चावला की जयंती पर जानिए उनके बारे में 10 अनसुनी बातें

  • Post By Admin on Mar 17 2025
भारत की पहली महिला अंतरिक्ष यात्री कल्पना चावला की जयंती पर जानिए उनके बारे में 10 अनसुनी बातें

नई दिल्ली : भारतीय मूल की पहली महिला अंतरिक्ष यात्री कल्पना चावला की आज 61वीं जयंती है। उनका जन्म 17 मार्च 1962 को हरियाणा के करनाल में हुआ था। उनके माता-पिता का नाम बनारसी लाल चावला और संजयोती चावला था। कल्पना चावला का जीवन प्रेरणा से भरपूर था और उनके योगदान को कभी नहीं भुलाया जा सकता। उनकी जयंती के मौके पर आइए जानते हैं उनके बारे में 10 ऐसी अनसुनी बातें, जो कम ही लोग जानते हैं।

पाकिस्तान से गहरा नाता रखता था कल्पना चावला का परिवार

कल्पना चावला का परिवार पहले पाकिस्तान के शेखपुरा में रहता था, लेकिन बंटवारे के बाद उनका परिवार करनाल (हरियाणा) में आकर बस गया था। यही वह जगह है जहां उन्होंने अपनी शुरुआती शिक्षा हासिल की थी और जीवन के पहले कुछ साल बिताए थे।

डॉक्टर या शिक्षक नहीं, एस्ट्रोनॉट बनना था सपना

कल्पना चावला के माता-पिता चाहते थे कि उनकी बेटी डॉक्टर या टीचर बने, लेकिन कल्पना के मन में शुरू से ही एस्ट्रोनॉट बनने का सपना था। महज 8वीं कक्षा में ही उन्होंने ठान लिया था कि वे एक दिन अंतरिक्ष यात्री बनेंगी।

इंजीनियरिंग में किए उच्च शिक्षा के कदम

कल्पना ने पंजाब इंजीनियरिंग कॉलेज से एयरोनॉटिकल इंजीनियरिंग में बैचलर डिग्री हासिल की। इसके बाद, 1984 में उन्होंने टेक्सास विश्वविद्यालय से एयरोस्पेस इंजीनियरिंग में मास्टर की डिग्री ली और 1986 में फिर से इसी विषय में दूसरा मास्टर डिग्री पूरा किया। 1988 में उन्होंने कोलोराडो विश्वविद्यालय से पीएचडी की डिग्री प्राप्त की।

नासा में किया करियर की शुरुआत

कल्पना चावला ने 1988 में नासा के लिए काम करना शुरू कर दिया था। उन्होंने अपने जीवन में कई महत्वपूर्ण स्पेस मिशनों पर काम किया और अंततः दिसंबर 1994 में उन्हें अंतरिक्ष-यात्री के रूप में चयनित किया गया।

भारत की पहली महिला अंतरिक्ष यात्री

कल्पना चावला भारत की पहली महिला अंतरिक्ष यात्री थीं। उन्होंने न केवल भारतीयों के लिए बल्कि पूरी दुनिया के लिए एक नया रास्ता दिखाया। उनके साहस और मेहनत ने यह साबित किया कि अगर मेहनत और समर्पण हो, तो कोई भी सपना सच हो सकता है।

दो बार अंतरिक्ष में यात्रा की

कल्पना चावला ने एक नहीं बल्कि दो बार अंतरिक्ष की यात्रा की थी। पहली बार 19 नवंबर 1997 को उन्होंने स्पेस शटल ‘कोलंबिया’ के माध्यम से अंतरिक्ष यात्रा की। इसके बाद, दूसरी बार 16 जनवरी 2003 को उन्होंने अपनी दूसरी अंतरिक्ष यात्रा के लिए उड़ान भरी थी।

दूसरी यात्रा में हुआ दुर्भाग्यपूर्ण हादसा

16 जनवरी 2003 को कल्पना चावला ने अपनी दूसरी अंतरिक्ष यात्रा के लिए उड़ान भरी थी। हालांकि, 1 फरवरी 2003 को जब वह पृथ्वी पर लौट रही थीं, उनका स्पेस शटल ‘कोलंबिया’ दुर्घटनाग्रस्त हो गया। इस हादसे में कल्पना चावला और उनके साथ सभी अंतरिक्ष यात्री शहीद हो गए थे। यह एक दुखद घटना थी, जिसने पूरी दुनिया को हिला दिया।

जान पियर से शादी की थी

कल्पना चावला ने फ्रांस के जान पियर से शादी की थी। वह एक फ्लाइंग इंस्ट्रक्टर थे और दोनों का विवाह बहुत ही सादगीपूर्ण तरीके से हुआ था। उनका साथ जीवनभर एक-दूसरे के लिए प्रेरणा बनकर रहा।

अमेरिका की नागरिकता

साल 1991 में कल्पना चावला ने अमेरिका की नागरिकता प्राप्त की थी। इसके बाद वह अमेरिका के नागरिक के तौर पर अंतरिक्ष यात्राओं के लिए तैयार हुईं और नासा के विभिन्न मिशनों का हिस्सा बनीं।

आज भी याद की जाती हैं

कल्पना चावला का नाम आज भी भारतीयों के दिलों में जीवित है। उनकी जयंती पर लोग उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं और उनकी कड़ी मेहनत, समर्पण और साहस को याद करते हैं। उनकी उपलब्धियां न केवल भारत बल्कि पूरी दुनिया के लिए एक प्रेरणा हैं।

कल्पना चावला का जीवन एक ऐसा उदाहरण है, जो हमें यह सिखाता है कि सपने बड़े हों तो उन्हें पूरा करने के लिए कठिनाइयों का सामना करना भी जरूरी है। उनकी कड़ी मेहनत और संघर्ष ने उन्हें अंतरिक्ष तक पहुंचाया और आज उनकी जयंती पर हम सभी उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं।